यह कहानी है एक ऐसे शिक्षक की, जिसने अपनी मेहनत और लगन से न सिर्फ़ एक स्कूल, बल्कि पूरे गाँव की तस्वीर बदल दी। यह कहानी है प्रवीण कुमार आमेटा की, जो राजस्थान के भिंडर नगर में स्थित एक प्राथमिक विद्यालय में शिक्षक हैं धारता पंचायत के ग्राम भीलों की बस्ती स्थित इस स्कूल में, उन्होंने शिक्षा की एक नई अलख जगाई।
शिक्षा की ज्योति
प्रवीण सर ने देखा कि पिछड़े तबके के बच्चे अपनी पढ़ाई अधूरी छोड़कर पलायन कर जाते थे। उन्हें लगा कि सिर्फ़ पढ़ाना ही काफ़ी नहीं है, बल्कि उन्हें प्रेरित करना भी ज़रूरी है। उन्होंने बच्चों को न सिर्फ़ किताबें पढ़ाईं, बल्कि उन्हें जीवन में आगे बढ़ने और स्वरोजगार के लिए भी प्रोत्साहित किया। वे गाँव के संगठन के साथ मिलकर छात्रों और उनके अभिभावकों की मदद करते थे। उन्होंने स्कूल को भी एक सुंदर जगह में बदल दिया, ताकि बच्चे खुशी-खुशी स्कूल आ सकें। उन्होंने स्कूल के परिसर में प्राकृतिक सौंदर्य को बढ़ाया, जिससे बच्चों को पढ़ाई के साथ-साथ प्रकृति से भी जुड़ने का मौका मिला।
पर्यावरण के सच्चे साथी
प्रवीण सर सिर्फ़ एक शिक्षक नहीं, बल्कि एक सच्चे पर्यावरण प्रेमी भी हैं। वे कई बार साइकिल से स्कूल आते-जाते हैं और हर जगह “पर्यावरण बचाओ” का संदेश देते हैं। पौधारोपण करना और उनकी देखभाल करना उनकी दिनचर्या का हिस्सा बन चुका है। उन्होंने अपने दोस्तों और परिवार को भी पर्यावरण के प्रति जागरूक किया। उनकी इसी लगन के कारण उन्हें फास्टर भारतीय पर्यावरण सोसाइटी इंटाली ने “पर्यावरण मित्र”के रूप में सम्मानित किया। उन्होंने बस्ती में नीम के पौधे लगाकर सार्वजनिक स्थानों को हरा-भरा बनाने का भी बीड़ा उठाया।
नेतृत्व और समर्पण
प्रवीण सर पिछले 14 सालों से राजस्थान प्राथमिक शिक्षक संगठनके अध्यक्ष के रूप में भी काम कर रहे हैं। वे राउवि, राउप्रावि प्रधानाध्यापक वाकपीठ के अध्यक्ष भी हैं, जो उनके नेतृत्व और समर्पण को दर्शाता है। वे हमेशा शिक्षक और छात्रों के हितों के लिए संघर्ष करते रहते हैं।
मदद का हाथ
प्रवीण सर ने सिर्फ़ स्कूल के बच्चों की ही नहीं, बल्कि ब्लॉक के अन्य स्कूलों के छात्रों की भी मदद की। वे अपनी कोशिशों से जरूरतमंद बच्चों को ऊनी कपड़े, स्कूल की वर्दी और जूते उपलब्ध कराते हैं। इतना ही नहीं, वे 13 बार रक्तदान कर चुके हैं और अपने इस नेक काम से बच्चों और साथी अध्यापकों को भी प्रेरित करते रहते हैं।
प्रवीण कुमार आमेटा एक सच्चे शिक्षक हैं, जिन्होंने अपने काम से यह साबित कर दिया कि एक व्यक्ति चाहे तो क्या कुछ नहीं कर सकता। उनकी यह कहानी हम सभी को प्रेरित करती है कि हम भी अपने जीवन में दूसरों की मदद करें और समाज को बेहतर बनाने में अपना योगदान दें।
PHOTO GALARY
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